मार्गशीर्ष माह को धार्मिक दृष्टिकोण से बहुत महत्वपूर्ण माना गया है। इस माह में आने वाली शुक्ल एकादशी तिथि को मोक्षदा एकादशी कहा जाता है। जैसा कि नाम से ही स्पष्ट है, यह एकादशी मोक्ष प्रदान करने वाली मानी जाती है। इस दिन भगवान विष्णु और उनके अवतार श्री कृष्ण की पूजा की जाती है। मोक्षदा एकादशी के साथ ही गीता जयंती का पर्व भी मनाया जाता है।
मोक्षदा एकादशी (Mokshada Ekadashi) वह शुभ दिन है, जब वासुदेव श्री कृष्ण ने अर्जुन को कुरुक्षेत्र में गीता का उपदेश दिया था। तो आइए जानते हैं, इस साल मोक्षदा एकादशी का व्रत कब रखा जाएगा। इसका शुभ मुहूर्त क्या है -
मोक्षदा एकादशी को वैकुंठ एकादशी भी कहा जाता है। यह तिथि मार्गशीर्ष शुक्ल एकादशी के दिन पड़ती है। इस साल, मोक्षदा एकादशी का व्रत सोमवार, 1 दिसंबर 2025 (Mokshada Ekadashi 2025 Date) को रखा जाएगा। भारत के दक्षिणी क्षेत्र में इसे मुक्कोटी एकादशी के नाम से भी जाना जाता है।
मोक्षदा एकादशी का शुभ मुहूर्त (mokshada ekadashi shubh muhurat) निम्नलिखित है-
| ब्रह्म मुहूर्त | सुबह 05:11 मिनट से 06:05 मिनट तक |
| विजय मुहूर्त | दोपहर 01:57 मिनट से 02:39 मिनट तक |
| गोधूलि मुहूर्त | शाम 05:23 मिनट से 05:50 मिनट तक |
| निशिता मुहूर्त | रात 11:46 मिनट से 12:40 मिनट तक |
• मोक्षदा एकादशी पर गीता का पाठ करना बहुत शुभ माना जाता है।
• यह व्रत विधि-विधान से रखने पर पूर्वजों को मोक्ष की प्राप्ति होती है।
• मोक्षदा एकादशी का व्रत रखने से पिछले सभी पापों का नाश होता है।
• इस एकादशी के दिन दान-धर्म करना बहुत फलदायक माना जाता हैं।
• मोक्षदा एकादशी व्रत करने से यज्ञ, दान और अश्वमेध यज्ञ के बराबर फल की प्राप्ति होती है।
1. एकादशी व्रत के दिन आप फल खा सकते हैं।
2. फल के अलावा आप कुछ सब्जियां जैसे आलू, गाजर, टमाटर, लौकी खा सकते है।
3. मोक्षदा एकादशी व्रत के दिन डेयरी प्रोडक्ट्स जैसे दूध, दही, छाछ आदि का सेवन कर सकते हैं।
4. एकादशी व्रत (Mokshada Ekadashi) के दिन आप कुट्टू का आटा, सिंघाड़े का आटा, साबूदाना और राजगिरा का उपयोग कर सकते हैं।
5. ध्यान रखें की इस एकादशी व्रत के दिन सेंधा नमक और काली मिर्च का ही प्रयोग करें। सामान्य मसालों का प्रयोग करने से बचें।
1. अगर संभव हो तो एकादशी व्रत के दिन फलाहार करें। अन्न का सेवन न करें।
2. व्रत के समय तामसिक भोजन जैसे प्याज, लहसुन, तीखें पदार्थ एवं मास-मदिरा से दूर रहें।
3. एकादशी व्रत के दौरान नमक, चावल, दाल, गेहूं और किसी भी तरह का अन्न का सेवन न करें।
4. इसके अलावा व्रत के दौरान हल्दी, हींग, राई, मेथी दाना आदि मसालों का प्रयोग करने से भी बचें।
5. एकादशी के दिन, धार्मिक दृष्टिकोण से बासी या दोबारा गरम किया गया भोजन खाना नहीं खाना चाहिए।
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