Severity: Warning
Message: fopen(/var/cpanel/php/sessions/ea-php80/ci_sessionfd74b44fe8881ddd2cbe0b70f501cb44440a1b89): Failed to open stream: No space left on device
Filename: drivers/Session_files_driver.php
Line Number: 174
Backtrace:
File: /home/dharmsaar/public_html/application/controllers/Welcome.php
Line: 8
Function: __construct
File: /home/dharmsaar/public_html/index.php
Line: 315
Function: require_once
Severity: Warning
Message: session_start(): Failed to read session data: user (path: /var/cpanel/php/sessions/ea-php80)
Filename: Session/Session.php
Line Number: 143
Backtrace:
File: /home/dharmsaar/public_html/application/controllers/Welcome.php
Line: 8
Function: __construct
File: /home/dharmsaar/public_html/index.php
Line: 315
Function: require_once
हिंदू कैलेंडर के अनुसार, हर साल माघ महीने के कृष्ण पक्ष के दिन सकट चतुर्थी व्रत रखा जाता है। इस दिन भगवान गणपति और सकट माता की भक्तिपूर्वक पूजा की जाती है। इसे संकष्टी चतुर्थी, वक्रतुंडी चतुर्थी, माही चौथ और तिल कूटा चौथ के नाम से भी जाना जाता है। आइए जानते हैं, सकट चौथ की पूजा की संपूर्ण विधि।
सकट चौथ (sakat chauth puja vidhi) पूजन विधि इस प्रकार से है-
• गणपति की मूर्ति
• लकड़ी की चौकी
• लाल वस्त्र
• जनेऊ
• सुपारी
• लौंग, इलायची
• गंगाजल
• फल, दूर्वा
• कुमकुम
• मेहंदी
• अबीर, गुलाल
• तिल के लड्डू,
• कलश
• सकट चौथ व्रत कथा पुस्तक
1. सकट चौथ व्रत के दिन ब्रह्म मुहूर्त में स्नान आदि कर और स्वच्छ कपड़े पहनें।
2. इसके बाद चौकी पर भगवान गणेश की मूर्ति स्थापित करें।
3. भगवान गणेश और मां लक्ष्मी को रोली और अक्षत लगाएं। फिर फूल, दूर्वा, मोदक आदि चढ़ाएं।
4. सकट चौथ में तिल का विशेष महत्व होता है। इसलिए इस चौथ के दिन भगवान गणेश को तिल के लड्डू और उससे बनी चीजों का भोग लगाना चाहिए।
5. सकट चौथ के पूजन के दौरान 'ॐ गं गणपतये नमः' मंत्र का जाप करें।
6. पूजा के अंत में सकट चौथ व्रत कथा सुनें और आरती करें।
7. इसके बाद रात को चंद्रमा निकलने पर अर्घ्य देकर सकट चौथ का व्रत समाप्त करें।
डाउनलोड ऐप