हिन्दू धर्म में भगवान गणेश को विघ्नहर्ता और सुख-समृद्धि देने वाला देवता माना जाता है। उन्हें हिन्दू धर्म का प्रथम पूजनीय देवता माना जाता है। श्री गणेश का स्मरण किए बिना कोई भी मांगलिक कार्य शुरू नहीं किया जाता। गणेश जी का जन्म भाद्रपद माह की शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को हुआ था। यही कारण है कि इस दिन गणपति जी की पूजा का विशेष महत्व बताया जाता है। आइए जानते हैं इस साल गणेश चतुर्थी कब मनाई जाएगी और भगवान गणेश की पूजा के लिए शुभ मुहूर्त क्या रहेगा।
गणेश चतुर्थी का पर्व हर साल भाद्रपद माह की शुक्ल पक्ष की चतुर्थी को मनाया जाता है। इस साल यह पर्व बुधवार, 27 अगस्त 2025 (Ganesh Chaturthi 2025 Date) को पड़ रहा है। 2025 में गणेश चतुर्थी का पर्व बुधवार के दिन आने के कारण, इसे और भी खास माना जा रहा है। शास्त्रों के अनुसार, बुधवार का दिन भगवान गणेश को समर्पित होता है।
माना जाता है कि जो भी व्यक्ति विधि-विधान से गणेश जी का पूजन करता है, उसे बुद्धि और सौभाग्य की प्राप्ति होती है।
गणेश चतुर्थी का पूजन मुहूर्त (Ganesh Chaturthi Puja Muhurat) इस प्रकार है-
गणेश चतुर्थी के दिन स्थापना और पूजन मुहूर्त - प्रात: 11:05 से दोपहर 01:40 बजे तक
गणेश चतुर्थी पूजन अवधि - 2 घंटे 34 मिनट
गणेश विसर्जन तिथि - शनिवार, सितम्बर 6, 2025
गणेश विसर्जन के लिए ये खास दिन हैं-
गणेश चतुर्थी के दिन वाहन खरीदने का कोई विशेष शुभ मुहूर्त नहीं है। गणेश चतुर्थी की तिथि का पूरा दिन ही शुभ माना जाता है। हालांकि, गणेश चतुर्थी के दिन शुभ संयोग 11:05 बजे से लेकर दोपहर 1:39 बजे तक रहेगा। आप इस शुभ मुहूर्त में वाहन खरीद सकते हैं।
गणेश चतुर्थी पूरे देश में हर्षोल्लास के साथ मनाई जाती है। लेकिन महाराष्ट्र में इस उत्सव की अलग ही रौनक देखी जाती है। महाराष्ट्र में भगवान गणेश को 'बप्पा' यानी 'पिता' कहकर पुकारा जाता है। यहां पुरे 10 दिनों तक 'गणपति उत्सव' चलता है। इस दौरान लोग ढोल-नगाड़ों के साथ बप्पा को घर लेकर आते हैं। वही अनंत चतुर्दशी के दिन बप्पा का विसर्जन किया जाता हैं।
गणेश चतुर्थी के दौरान, मुंबई एक अलग ही रंग में रंग जाता है। हर गली और मोहल्ले में गणपति जी के भव्य और खूबसूरत मूर्तियां देखने को मिलती हैं। शहर में बड़े-बड़े पंडाल सजाए जाते हैं। दुनिया भर से लोग यहां दर्शन के लिए आते हैं। मुंबई में लगाए जाने वाले लोकप्रिय पांडाल इस प्रकार हैं-
• गणेश गली
• मुंबईचा राजा
• लालबागचा राजा
• योगी नगर गणपति पंडाल
• जीएसबी सेवा मंडल गणपति
1. ॐ गं गणपतये नमः..!!
2. ॐ श्री गणेशाय नमः.!!
3. वक्रतुण्ड महाकाय सूर्यकोटि समप्रभ।
निर्विघ्नं कुरु मे देव सर्वकार्येषु सर्वदा॥
4. एकदन्ताय विद्मवहे। वक्रतुण्डाय धीमहि। तन्नो दंती प्रचोदयात्।।
5. विघ्नेश्वराय वरदाय सुरप्रियाय लमोदयाय सकलाय जगद्धितायं।
नागानाथ श्रुतियज्ञविभूषिताय गौरीसुताय गलतीथ नमो नमस्ते॥
6. ॐ गं गौं गणपतये विघ्न विनाशिने स्वाहा।
7. गणपतिर्विघ्नराजो लम्बतुण्डो गजाननः।
द्वैमातुरश्च हेरम्ब एकदन्तो गणाधिपः॥
विनायकश्चारुकर्णः पशुपालो भवात्मजः।
द्वादशैतानि नामानि प्रातरुत्थाय यः पठेत्॥
विश्वं तस्य भवेद्वश्यं न च विघ्नं भवेत् क्वचित्।
8. ॐ वक्रतुंडा हुं।
9. ॐ श्रीं ह्रीं क्लीं ग्लौं गं गणपतये वर वरद सर्वजनं मे वशमानय स्वाहा।
10. ॐ नमो हेरम्ब मद मोहित मम् संकटान निवारय-निवारय स्वाहा।