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भाद्रपद माह में आने वाली शुक्ल पंचमी को ऋषि पंचमी के नाम से जाना जाता है। आमतौर पर ऋषि पंचमी का व्रत, हरतालिका तीज के दो दिन बाद और गणेश चतुर्थी के ठीक एक दिन बाद मनाया जाता है। अंग्रेजी कैलेंडर के अनुसार यह व्रत मुख्य रूप से अगस्त या सितंबर में पड़ता है।
ऋषि पंचमी को प्रसिद्द हिन्दू व्रतों में से एक माना जाता है । इस पंचमी के दिन महिलाओं द्वारा सप्त ऋषियों को श्रद्धांजलि देने का विधान माना जाता है। माना तो यह भी जाता है कि, स्त्रियों द्वारा यह व्रत रजस्वला दोष से शुद्ध होने के लिए भी किया जाता है। ऋषि पंचमी (Rishi Panchami 2023) को गुरु पंचमी या भाई पंचमी के नाम से भी जाना जाता है।
हर साल भाद्रपद माह की शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि के दिन सप्त ऋषियों को समर्पित यह व्रत रखा जाता है। इस वर्ष ऋषि पंचमी 20 सितंबर 2023, (Rishi Panchami 2023 Date ) बुधवार के दिन मनाया जाएगा। ऋषि पंचमी 2023 का शुभ मुहूर्त व पूजन मुहूर्त इस प्रकार से है-
ऋषि पंचमी पूजा मुहूर्त | सुबह 11:15 AM से दोपहर 01:41 PM तक |
पूजन अवधि | 02 घंटे 26 मिनट |
पंचमी तिथि प्रारंभ | 19 सितंबर 2023, दोपहर 01:43 बजे से |
पंचमी तिथि समाप्त | 20 सितंबर 2023, दोपहर 2:16 बजे तक |
• ऋषि पंचमी का व्रत, हिन्दू धर्म के प्राचीन सप्तर्षियों के महान कार्यों के सम्मान में मनाया जाता है।
• इस व्रत के दौरान, सप्त ऋषि अर्थात् कश्यप, अत्रि, भारद्वाज, विश्वामित्र, गौतम, जमदग्नि और वशिष्ठ की पारंपरिक पूजा-अर्चना की जाती है।
• ऋषि पंचमी का दूसरा नाम भाई पंचमी भी है। माहेश्वरी समुदाय में इस दिन बहिने अपने भाइयों की कलाई पर राखी बांधती है और उनकी लंबी उम्र की प्रार्थना करती है।
1. ऋषि पंचमी के दिन स्नान करने के बाद साफ और स्वछ कपड़े पहनें।
2. अपने घर में किसी साफ स्थान या पाटे पर हल्दी, कुमकुम और रोली से चौकोर आकार का चित्र बनाएं।
3. अब पाटे या चौकी पर सफ़ेद रंग कपड़े या अन्य किसी शुद्ध वस्तु से सप्त ऋषि की छवि बनाकर रखें।
4. चौकी पर बनी सप्त ऋषियों की आकृति पर शुद्ध जल और पंचामृत डालें।
5. अब पुष्प समर्पित करें और उन्हें यज्ञोपवीत धारण कराएं।
6. फल, मिठाई आदि नैवेज्ञ अर्पित करें और उस पर धूप आदि रखें।
7. इस दिन व्रत रखने वाली महिलाएं अन्न का सेवन न करें और व्रत में खाएं जाने वाली सात्विक वस्तुओं का ही सेवन करें।
8. पूजन के बाद सप्त ऋषियों से प्रार्थना करें और अपनी सभी गलतियों की क्षमा मांगे।
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