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त्यौहार

Chhath Puja 2022 Date: कब मनाया जाएगा छठ पूजा का त्यौहार? जानें महापर्व की तिथि व चार दिवसीय कार्यक्रम

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छठ पूजा भारत के सबसे लोकप्रिय त्यौहारों में से एक है। यह त्यौहार खास तौर पर बिहार, झारखंड, उत्तर प्रदेश समेत पूर्वांचल के अधिकांश हिस्सों में भी मनाया जाता है। छठ की यह पूजा हर सुहागिन स्त्री के लिए खास महत्व रखती है। चार दिनों तक मनाए जाने वाला छठ का यह त्यौहार सभी के लिए ढेर सारी खुशियां और उमंग लेकर आता है।

Chhath Puja 2022 Date: कब मनाया जाएगा छठ पूजा का त्यौहार? जानें महापर्व की तिथि व चार दिवसीय कार्यक्रम

चार दिवसीय छठ महोत्सव कार्तिक शुक्ल चतुर्थी तिथि से शुरू होकर सप्तमी तक मनाया जाता है। छठ की पूजा शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को की जाती है। छठ पूजा में मुख्यतः सूर्य देव के साथ छठ मैया की आराधना की जाती है। माना जाता है की जो भी पुरे विधि-विधान से छठ की पूजा करते है उनके घर में सुख समृद्धि आती है।


कब मनाई जाएगी छठ पूजा | Chhath Puja 2022 Date

इस साल 2022 में कार्तिक शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि, 30 अक्टूबर 2022 को पड़ेगी। जिसके चलते इसी तारीख को छठ पूजा की जाएगी। हालांकि छठ पूजा के चार दिवसीय पर्व की शुरुआत 28 अक्टूबर से हो जाएगी और इसका समापन 31 अक्टूबर तक होगा।


छठ पूजा चार दिवसीय कार्यक्रम | Chhath Puja Four-day Programmes

पहले दिन नहाय-खाय | Chhath Puja Day 1

छठ महापर्व के पहले दिन की शुरुआत नहाया खाया के साथ होती है। इस सुबह जल्दी उठकर स्न्नान कर नए वस्त्र धारण किये जाते है। बताया जाता है महिलाएं इस दिन माथे पर सिंदूर लगाती है और फिर घर की सफाई कर पकवान आदि तैयार करती है। इस दिन से छठ पूजा करने वाली सभी महिलाएं कठिन व्रत का पालन करती है।

दूसरे दिन खरना | Chhath Puja Day 2

छठ पूजा के दूसरे दिन महिलाएं पुरे दिन उपवास रखती है। इसके साथ ही वे इस दिन मिट्टी का एक चूल्हा बनाती है और फिर इस चूल्हे पर गुड़ की खीर और रोटियां तैयार करती है। इन तैयार किये गए व्यंजनों का भोग पहले भगवान को चढ़ाया जाता है और फिर प्रसाद के रूप में ग्रहण किया जाता है। छठ के समय साफ-सफाई एक विशेष रूप से ध्यान रखना चाहिए।

तीसरे दिन अस्त होते सूर्य को अर्घ्य | Chhath Puja Day 3

छठ पूजा का तीसरा दिन सबसे महत्वपूर्ण माना जाता है। इस दिन अस्तगामी सूर्य देव की पूजा-अर्चना की जाती है। छठ पूजा के तीसरे दिन अस्त होते सूर्य को आटे, ठेकुए, गन्ने, नारियल व फल इत्यादि हाथ में लेकर घाट पर खड़े होकर अर्घ्य दिया जाता है।

चौथे दिन उगते सूर्य को अर्घ्य | Chhath Puja Day 4

छठ महापर्व के अंतिम दिन सूर्योदय के समय लाखों की संख्या में लोग नदी के घाट पर पहुंचते है। घाट पर पहुंचकर वह उगते सूर्य को अर्घ्य देते है और उनसे अपने परिवार की सुख-समृद्धि की कामना करते है। इस दिन छठ व्रत का पारण किया जाता है। सूरज को अर्घ देने के बाद छठ की कथा पढ़ी व सुनी जाती है।

छठ का यह पर्व भारत ही नहीं बल्कि दुनियाभर में रहने वाले वाले सभी हिन्दुओं के द्वारा मनाया जाता है। साल में दो बार मनाए जाने वाला छठ का यह त्यौहार सम्पूर्ण श्रद्धा और विश्वास के साथ मनाया जाता है।

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